बिजनौर, 20 जून। डीएम जसजीत कौर ने सभी बैंकर्स को निर्देश दिए कि ऋण योजना के अंतर्गत रोजगारपरक योजनाओं के पात्र लाभर्थियों को स्वरोजगार के लिए ऋण उपलब्ध कराएं। उन्होंने सचेत करते हुए कहा कि इस कार्य में किसी तरह की शिथिलता अथवा लापरवाही बर्दाश्त् नहीं की जाएगी।
श्रीमती कौर कलक्ट्रेट के महात्मा विदुर सभागार में शुक्रवार को डीएलआरसी एवं डीसीसी की त्रैमासिक बैठक को संबोधित कर रही थीं। उन्होंने अपनी ऋण जमा अनुपात की समीक्षा करते हुए पाया कि इंडियन बैंक, स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया, बैंक ऑफ़ बड़ोदा सहित छह बैंक शाखाओं द्वारा राष्ट्रीय लक्ष्य 60 प्रतिशत के सापेक्ष 40 प्रतिशत से भी कम की प्रगति की गई है। डीएम ने प्रत्येक बैठक में बैंक अफसरों को सख्त निर्देश दिए जाने के बावजूद उक्त ऋण जमा अनुपात कार्य में सुधार न होने पर नाराजगी व्यक्त करते हुए जिला अग्रणी बैंक प्रबंधक को संबंधित बैंकों के शाखा प्रबंधकों को नोटि स जारी करने के निर्देश दिए। उन्होंने एलडीएम को यह भी निर्देश दिए कि जिले के सभी सीमावर्ती ग्रामों का निरीक्षण करें और आबादी के निर्धारित मानक के अनुरूप जिन गांवों में बैंक सुविधा उपलब्ध नहीं है, वहां प्राथमिकता के आधार पर बैंक शाखाएं अथवा बैंकिंग आउटलेट की स्थापना करवाएं।
डीएम ने मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान योजना की समीक्षा करते हुए पाया कि वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए जिले में 1700 के लक्ष्य के सापेक्ष वर्तमान तक 2202 आवेदन बैंकों को प्रेषित किए गए। इनमें से 646 स्वीकृत आवेदनों में से 465 पर ऋण वितरण किया जा चुका है, 763 आवेदन स्वीकृति के लिए तथा 178 आवेदन ऋण वितरण के लिए लंबित हैं, जबकि 794 आवेदन निरस्त किए गए हैं। योजना अंतर्गत 420 ऋण खातों में रुपए 180.86 लाख मार्जिन मनी के रूप में क्लेम भी किए गए।
उन्होंने परियोजना अधिकारी नेडा को निर्देश दिए कि पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना के अंतर्गत जिले को प्राप्त लक्षण की प्राप्ति के लिए बैंकर्स एवं पंजीकृत वेंडर्स के साथ समन्वय स्थापित कर कार्य योजना बनाएं तथा योजना से संबंधित जन समर्थ पोर्टल ऋण के लिए उपलब्ध होने वाले आवेदनों का निस्तारण करें। डीएम ने समस्त बैंकर्स को निर्देश देते हुए कहा कि बैंकों द्वारा सरकार द्वारा चलायी जा रही योजना में ऋण देने में लापरवाही बरती जा रही है, सभी बैंकर्स यह ध्यान दें कि सरकार गरीबों के स्वरोजगार के लिए जो योजनाएं चला रही हैं उसमें बैंकों की भागीदारी भी महत्वपूर्ण है, इसलिए बैंकर्स सरकारी योजनाओं के ऋणों की फाइलों को पूरी गुणवत्ता के आधार पर स्वीकृत कर लाभार्थियों को ऋण उपलब्ध करवाएं।
इस अवसर पर ज्वाइंट मजिस्ट्रेट कुणाल रस्तोगी, जिला अग्रणी बैंक प्रबंधक अखिल कुमार सिंह, उपायुक्त उद्योग, डीडीएम नाबार्ड सहित समस्त बैंकर्स, संबंधित विभागीय अधिकारी मौजूद थे।