
बिजनौर, 27 मई। जिलाधिकारी जसजीत कौर ने बताया कि उत्तर प्रदेश सरकार की “मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना” समाज में सर्वधर्म-समभाव और सामाजिक समरसता को बढ़ावा देने के लिए संचालित है। इस योजना का उद्देश्य विवाह समारोहों में होने वाले अनावश्यक प्रदर्शन और अपव्यय को रोकना भी है।
इस योजना के तहत, ₹2,00,000/- तक की वार्षिक आय वाले सभी वर्गों के परिवारों को लाभ मिलता है। इसमें विधवा, परित्यक्ता और तलाकशुदा महिलाओं के विवाह की भी व्यवस्था है। प्रति जोड़े के विवाह पर कुल ₹51,000/- का खर्च आता है, जिसमें कन्या के खाते में ₹35,000/- का अनुदान, ₹10,000/- की गृहस्थी सामग्री और ₹6,000/- विवाह आयोजन पर खर्च होते हैं।इसके अतिरिक्त, “शादी अनुदान योजना” के तहत अनुसूचित जाति, सामान्य वर्ग और पिछड़ा वर्ग की कन्याओं को ₹20,000/- का अनुदान दिया जाता है। इस योजना के लिए शादी से 90 दिन पहले या 90 दिन बाद तक आवेदन किया जा सकता है। आवेदक shadianudan.upsdc.gov.in पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। ग्रामीण क्षेत्र के आवेदकों की वार्षिक आय ₹46,080/- और शहरी क्षेत्र के आवेदकों की वार्षिक आय ₹56,460/- से कम होनी चाहिए। योजना का लाभ उत्तर प्रदेश के निवासियों को मिलेगा, और आवेदक दो बेटियों के लिए अनुदान राशि के लिए आवेदन कर सकते हैं।